भारतीय पायलटों को मारने का था प्लान - गवाइं खुद की जान...There was a plan to kill Indian pilots - they lost their own lives..
जाना था किसी और को मर गया कोई और? टूटी जिंदगी की फालतू में डोर..
पाकिस्तान किसी भी हाल में भारतीय पायलटों को मारना या बंदी बनाना चाहता था, क्यों की फिर से एक बार अभिनंदन जैसा किस्सा हो. इस बार जब भारत और पाकिस्तान के लड़ाकू विमानों के बीच जब जंग चल रही थी उस वक्त पाकिस्तानी एयरफोर्स के प्रमुख भारतीय पायलटों को मारने के लिए चिल्ला रहे थे. द न्यूज इंटरनेशनल की रिपोर्ट में कहा गया है कि पाकिस्तानी एयरफोर्स के प्रमुख का फोकस हर हाल में ज्यादा से ज्यादा संख्या में भारतीय पायलटों को मारने पर थी. वो बार बार वॉर घर में चिल्ला रहे थे कि 'उन्हें मार डालो, उन्हें मार डालो, उन्हें पाकिस्तान में एक इंच भी घुसने ना दो' द न्यूज इंटरनेशनल ने बताया है कि एयर चीफ मार्शल जहीर अहमद बाबर सिद्धू 15 स्क्वाड्रन के पायलटों से सीधे बात कर रहे थे. रिपोर्ट में कहा गया है कि उस वक्त वो एक खुफिया कमांड सेंटर में मौजूद थे. पाकिस्तान की सेना ने कबूल किया है कि भारत के हमले में पाकिस्तान के 11 सैनिक मारे गये हैं और 75 से ज्यादा घायल हुए हैं. जिनमें 5 जवान पाकिस्तानी वायुसेना के हैं. भारत के हमलों में पाकिस्तानी एयरफोर्स के और भी कई जवान मारे गये हैं, जिनकी मौत की बात धीरे धीरे पाकिस्तान कबूल करेगा.
मूर्खों की कंट्री में है जल्लोष - बेचारे भिकमंगे खो रहे है अपना होश...
भारत और पाकिस्तान के बीच सीजफायर के बाद दोनों देशों में अलग माहौल दिखाई दे रहा है. पाकिस्तान में लोग जित का जश्न मना रहे है , पटाखे फोड़ कर सेलिब्रेट कर रहे हैं. यहाँ भारत में लोग सरकार से सवाल पूछ रहे हैं कि पाकिस्तान पर रहम क्यों किया? भारत में कुछ लोग ऐसे भी हैं जिन्हें यह महसूस हो रहा् है कि सीजफायर को स्वीकार कर लेना हमारे लिए हार को मान लेने जैसा ही है. भारत और पाकिस्तान दोनों ही एक देश रहे हैं, पर बंटवारे के बाद दोनों ही देशों की सोच में बहुत बड़ा बदलाव हो गया. पाकिस्तान ने खुद को एक इस्लामिक मुल्क घोषित कर दिया. जो इस्लामिक के साथ साथ सैन्य प्रभुत्व वाले देश में बदल गया. जबकि भारत ने खुद को एक धर्मनिरपेक्ष देश के रूप में डिवेलप किया और लोकतंत्र को यहां फलने फूलने का मौका मिला. नतीजा यह हुआ कि भारत और पाकिस्तान दोनों के ही प्रकृति में जमीन और आसमान का अंतर हो गया. यही कारण है कि दोनों देशों के लोग युद्ध को लेकर भी अलग दृष्टिकोण रखते हैं.
कहा राजा भोज - कहाँ नंगू तेली ?
भारत और पाकिस्तान की राजनीतिक संस्कृति में जमीन आसमान का अंतर है. पाकिस्तान किसी भी कीमत पर भारत से लंबे युद्ध के लिए तैयार नहीं था. जो देश युद्ध के बीच ही IMF से बेलआउट पैकेज ले रहा हो उसके बारे में क्या ही सोचा जा सकता है. मतलब साफ है कि एक हाथ में भिक का कटोरा और दूसरे हाथ में सडी हुई गन...
भारत और पाकिस्तान के बीच भले ही सीजफायर पर सहमति बन गई हो, लेकिन तनाव अभी भी जारी है. पीएम मोदी ने कल देश को संबोधित करते हुए पाकिस्तान को चेतावनी दी. उन्होंने कहा कि भारत की जवाबी कार्रवाई बस स्थगित हुई है. पीएम ने ये भी कहा कि पाकिस्तान से बात केवल आतंकवाद और POK के मुद्दे पर होगी. वहीं जम्मू-कश्मीर में सुरक्षाबलों और लश्कर के आतंकियों के बीच एनकाउंटर जारी है. सुरक्षा बलों ने तीन आतंकी को ढेर कर दिया है.
ऑपरेशन सिंदूर बाद - बीजेपी ने निकाली तिरंगा यात्रा यादगार...
भारतीय जनता पार्टी के सांसद मनोज तिवारी ने तिरंगा यात्रा
पर कहा: “इसमें कोई दो राय नहीं है—इस राष्ट्र का हर बच्चा तिरंगे के साथ खड़ा है और गर्व से हमारी
सशस्त्र सेनाओं का समर्थन करता है, भारत माता की जय का
नारा लगाता है। हम अवाक हैं, भावनाओं से अभिभूत हैं। यह
किसी राजनीतिक दल की तिरंगा यात्रा नहीं है; यह दिल्ली के
हर नागरिक की है.
KBKK – खबर बाल की खाल
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